जागरण ब्यूरो, लखनऊ : उच्च न्यायालय की पूर्णपीठ ने प्राथमिक शिक्षकों की भर्ती के लिए अध्यापक पात्रता
परीक्षा (टीईटी) को भले ही अनिवार्य ठहरा दिया हो
लेकिन परिषदीय प्राथमिक स्कूलों में 72,825
पदों पर शिक्षकों की नियुक्ति की राह में अब भी पेंच फंसा
हुआ है। 1परिषदीय प्राथमिक स्कूलों में 72,825 रिक्त पदों पर शिक्षकों की भर्ती के लिए 13 नवंबर 2011 को आयोजित टीईटी से पहले
शासन ने यह तय किया था कि शिक्षकों का चयन सिर्फ टीईटी की मेरिट के आधार पर किया जाएगा। बाद में
अखिलेश सरकार ने यह तय किया कि टीईटी सिर्फ
पात्रता परीक्षा होगी और शिक्षकों का चयन शैक्षिक मेरिट के आधार पर किया जाएगा।1सपा सरकार के इस फैसले को हाई कोर्ट में चुनौती दी गई। यह मामला हाई कोर्ट की इलाहाबाद और
लखनऊ खंडपीठों के सामने लंबित है। गर्मी की
छुट्टी के कारण हाई कोर्ट बंद है। लिहाजा इस मामले की सुनवाई जुलाई से पहले नहीं हो पायेगी। इन
परिस्थितियों में 72,825 पदों पर शिक्षकों की भर्ती
के लिए काउन्सिलिंग प्रक्रिया के जुलाई से पहले शुरू होने के आसार नहीं हैं।
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